31 जुलाई 2025, नई दिल्ली | संसद के मानसून सत्र में बुधवार को सरकार को दो प्रमुख मुद्दों पर विपक्ष के तीखे सवालों का सामना करना पड़ा—अमेरिका द्वारा भारतीय उत्पादों पर 25% टैरिफ की घोषणा और बिहार में मतदाता सूची संशोधन (SIR) को लेकर लोकतांत्रिक अधिकारों पर उठे सवाल।
कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की विदेश नीति पर निशाना साधते हुए पूछा:
“ट्रंप को मित्र कहने का लाभ देश को मिला या सिर्फ अमेरिका को?”अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप द्वारा 1 अगस्त से भारत के कुछ आयातों पर भारी शुल्क लगाने की घोषणा से भारतीय निर्यातकों में चिंता है। कांग्रेस ने इसे कूटनीतिक विफलता बताया। वाणिज्य मंत्री पीयूष गोयल ने आश्वासन दिया कि सरकार इस मुद्दे पर कदम उठा रही है।
बिहार SIR पर बवाल: मतदाता अधिकारों पर संकट?
बिहार में चल रही Special Intensive Revision (SIR) प्रक्रिया के तहत लाखों मतदाताओं के नाम सूची से हटाए जाने को लेकर विपक्ष हमलावर है। संसद में हंगामा हुआ, पोस्टर फाड़े गए और विरोध प्रदर्शन हुआ।
चुनिंदा तबकों को निशाना बनाए जाने का आरोप
कांग्रेस, राजद, वाम दल और अन्य विपक्षी पार्टियों ने आरोप लगाया कि इस संशोधन का मकसद गरीब, मजदूर, प्रवासी और अल्पसंख्यक तबकों को मताधिकार से वंचित करना है। सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले की सुनवाई के लिए हामी भर दी है।
INDIA गठबंधन की घोषणा: देशभर में होगा आंदोलन
विपक्षी गठबंधन INDIA ने मतदाता अधिकारों की रक्षा के लिए देशव्यापी आंदोलन की घोषणा की है। पटना से दिल्ली तक जन-जागरण यात्राएं और निर्वाचन आयोग के समक्ष प्रदर्शन किए जाएंगे। संसद का यह सत्र एक ओर विदेश नीति की साख पर सवाल उठा रहा है, वहीं दूसरी ओर लोकतंत्र की बुनियादी संरचना—मतदाता अधिकार—पर गहरा संकट उभरता दिख रहा है। सरकार के लिए यह समय स्पष्टता और जवाबदेही का है।