हिन्द सागर चुनाव विश्लेषण डेस्क | पटना | 2 जुलाई 2025,बिहार विधानसभा चुनाव 2025 को लेकर विभिन्न एजेंसियों द्वारा जारी शुरुआती सर्वेक्षणों ने राजनीतिक हलचल तेज कर दी है। ‘सी-वोटर’ और ‘आईओएन भारत’ जैसी एजेंसियों ने अपने प्रारंभिक अनुमान साझा किए हैं। हालांकि अभी तक किसी एक सर्वे को व्यापक रूप से “पहला आधिकारिक सर्वे” नहीं माना जा रहा है, फिर भी ये रुझान आगामी राजनीतिक दिशा की झलक अवश्य देते हैं।
तेजस्वी यादव बने मुख्यमंत्री पद के प्रमुख दावेदार
ION भारत और C-Voter के कुछ चरणों में तेजस्वी यादव को मुख्यमंत्री पद के लिए जनता की पहली पसंद बताया गया है। खासकर युवाओं के बीच उनकी लोकप्रियता उल्लेखनीय रूप से बढ़ी है। वहीं, नीतीश कुमार की लोकप्रियता में उतार-चढ़ाव देखा गया है।
लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) के नेता चिराग पासवान भी तेजी से उभरते हुए दावेदार के रूप में सामने आए हैं। कुछ सर्वे में प्रशांत किशोर को भी जनता का समर्थन मिलता दिख रहा है।
भाजपा नेता सम्राट चौधरी जैसे नाम भी सर्वे में शामिल हैं, लेकिन अभी वे शीर्ष दौड़ में पीछे बताए जा रहे हैं।
एनडीए को सत्ता विरोधी लहर की चुनौती
कुछ शुरुआती सर्वेक्षणों में एनडीए गठबंधन (भाजपा-जेडीयू) के लिए “एंटी-इनकंबेंसी” यानी सत्ता विरोधी लहर का संकेत मिला है, जिससे गठबंधन की चिंता बढ़ सकती है। दूसरी ओर, महागठबंधन (आरजेडी, कांग्रेस आदि) को इन अनुमानों से उत्साह मिला है।
ध्यान देने योग्य बात यह है कि जेडीयू के हालिया पोस्टरों में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को एक साथ prominently दिखाया गया है, जो गठबंधन की एकजुटता और साझा नेतृत्व को दर्शाने की रणनीति मानी जा रही है।
चुनाव आयोग की तैयारियां तेज
चुनाव आयोग ने 22 वर्षों बाद विशेष गहन मतदाता सूची पुनरीक्षण (SIR) अभियान शुरू किया है। बूथ लेवल अधिकारी (BLO) घर-घर जाकर मतदाताओं का सत्यापन कर रहे हैं। अंतिम मतदाता सूची 30 सितंबर 2025 तक प्रकाशित होने की संभावना है।
फिलहाल ये सर्वे केवल रुझान हैं, कोई अंतिम तस्वीर नहीं। अक्टूबर-नवंबर में संभावित चुनाव से पहले राजनीतिक समीकरण, प्रचार अभियान और नए सर्वे अंतिम दिशा तय करेंगे। जनता का मूड किस ओर है, यह कहना अभी जल्दबाजी होगी।